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गीत-संगीत और नृत्य से छात्रों ने जताया आभार, SGRRU परिसर बना अविस्मरणीय

  • लेखक की तस्वीर: Uttarakhandnews Network
    Uttarakhandnews Network
  • 8 सित॰
  • 2 मिनट पठन

देहरादून। गुरु के बिना ज्ञान अधूरा और शिष्य बिना गुरु दिशाहीन—इसी अमूल्य परंपरा को जीवंत करते हुए श्री गुरु राम राय यूनिवर्सिटी (SGRRU) के मेडिकल एंड हेल्थ साइंसेज़ संस्थान में सोमवार को शिक्षक दिवस का आयोजन बड़े हर्ष और उल्लास के साथ किया गया।

इस अवसर पर छात्रों ने अपने गुरुओं के प्रति आभार प्रकट करते हुए उन्हें सम्मानित किया। शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्ट योगदान देने वाले 15 शिक्षकों को विशेष सम्मान प्रदान किया गया।


दीप प्रज्ज्वलन से हुआ शुभारंभ


कार्यक्रम की शुरुआत संस्थान के सभागार में दीप प्रज्ज्वलन से हुई। प्राचार्य डॉ. अशोक नायक, निदेशक डॉ. मनोज गुप्ता, श्री महंत इंदिरेश अस्पताल के मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डॉ. अनिल मलिक और कम्यूनिटी मेडिसिन विभागाध्यक्ष डॉ. पुनीत ओहरी ने संयुक्त रूप से दीप जलाकर शिक्षक दिवस कार्यक्रम का शुभारंभ किया।


गुरु ही शिष्य का पथप्रदर्शक


प्राचार्य डॉ. अशोक नायक ने विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए कहा—“आज का विद्यार्थी ही भविष्य का अध्यापक है। गुरु एक आइना है, जो शिष्य को उसकी क्षमताओं और कमजोरियों से अवगत कराता है तथा सही-गलत का बोध कराता है। गुरु-शिष्य संबंध जितना सहज और सरल रहेगा, उतना ही ज्ञान का प्रवाह और प्रभाव मजबूत होगा।”


गुरु का मार्गदर्शन ही सफलता का मंत्र


संस्थान के निदेशक डॉ. मनोज गुप्ता ने अपने संस्मरण साझा करते हुए कहा—“यदि आप जीवन में सफलता पाना चाहते हैं तो गुरु का सम्मान और उनका मार्गदर्शन दोनों आवश्यक हैं। गुरु-शिष्य परंपरा भारतीय संस्कृति की आत्मा है और इसे आगे बढ़ाना हर विद्यार्थी का कर्तव्य है।”


छात्रों ने दी सांस्कृतिक प्रस्तुतियाँ


कार्यक्रम के दौरान छात्र-छात्राओं ने गीत, संगीत और नृत्य की प्रस्तुतियों से वातावरण को भक्तिमय और भावपूर्ण बना दिया। “गुरु गोविंद दोऊ खड़े” जैसे भावपूर्ण उद्धरणों के माध्यम से छात्रों ने अपने शिक्षकों के प्रति आभार व्यक्त किया। सभागार तालियों की गड़गड़ाहट से गूंज उठा और गुरु-शिष्य परंपरा को जीवंत स्वरूप मिला।


सम्मानित शिक्षक


इस अवसर पर शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्ट योगदान के लिए जिन शिक्षकों को सम्मानित किया गया उनमें शामिल हैं—

डॉ. हरमीत कौर, डॉ. आशीष गोयल, डॉ. तारिक मसूद, डॉ. सदाफ खान, डॉ. सुलेखा नौटियाल, डॉ. शालू बावा, डॉ. ललित कुमार, डॉ. पुनीत ओहरी, डॉ. प्रियंका गुप्ता, डॉ. शरद हरनूट, डॉ. नारायण जीत सिंह, डॉ. ए.वी. माथुर, डॉ. अंजलि चौधरी, डॉ. रागिनी सिंह और डॉ. योगेश आहूजा।

 
 
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